जिमी मैथ्यूज…1 टेस्ट… 2 पारी… 2 हैट्रिक

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क्रिकेट इतिहास में एक मैच में दो बार हैट्रिक बनाने वाले एकमात्र खिलाड़ी

नई दिल्ली। क्रिकेट के मैदान में उतरने वाले हर गेंदबाज का यह सपना होता कि वह कभी ना कभी हैट्रिक जरूर ले। अधिकांश गेंदबाज यह सपना पूरा नहीं कर पाते हैं लेकिन जो कर लेते हैं उनका नाम क्रिकेट इतिहास के सुनहरे पन्नों में दर्ज भी हो जाता है। ऐसे में यदि करियर में एक अदद हैट्रिक का सपना पालने वाले गेंदबाज की दो हैट्रिक हो जाएं और वह भी एक ही मैच की दो पारियों में ? सुनने में आश्चर्यजनक लगे लेकिन ऑस्ट्रेलिया के स्पिनर जिमी मैथ्यूज इस अनूठे कारनामे को अंजाम दे चुके हैं।

मैथ्यूज ने ऑस्ट्रेलिया के लिए वर्ष 1912 के महज एक साल में 8 टेस्ट मैच खेले थे, इस तरह एक खिलाड़ी के तौर पर उनका करियर महज 126 दिनों का ही रहा लेकिन इसी दौरान उन्होंने एक ही मैच की दोनों पारियों में हैट्रिक बनाकर इतिहास रच दिया। उनके बाद यह कारनामा क्रिकेट इतिहास में कोई दूसरा गेंदबाज नहीं कर सका है।

एक दिन.. दो हैट्रिक

28 मई 1912 को ऑस्ट्रेलिया और साउथ अफ्रीका के बीच टेस्ट मैच खेला जा रहा था। यह तीन देशों के बीच खेला जाने वाला टूर्नमेंट था। तीसरी टीम इंग्लैंड की थी। मैच के दौरान ये दोनों हैटट्रिक उन्होंने बिना फील्डर्स की मदद के हासिल की। यानी सभी में वह और गेंदबाज आमने-सामने रहे। छह में दो खिलाड़ियों को उन्होंने बोल्ड किए। दो अपनी ही गेंद पर कैच और दो को LBW किया। यानी काम खुद ही समेट दिया।

ऑस्ट्रेलिया की बड़ी जीत

ऑस्ट्रेलिया ने इस मैच में साउथ अफ्रीका को पारी और 88 रन से करारी शिकस्त दी। 27 और 28 मई को खेले गए इस मैच में ऑस्ट्रेलिया ने पहले बल्लेबाजी करते हए 442 रन बनाए और जवाब में साउथ अफ्रीका 265 रन पर सिमट गई। और तो और दूसरी पारी में सिर्फ 95 पर ऑल आउट हो गई। मैथ्यूज ने पूरे मैच में छह विकेट लिए। और ये छह हैटट्रिक के ही थे। उन्होंने ये दोनों तिकड़ी एक ही दिन में हासिल कीं। इतना ही नहीं दोनों पारियों में टोनी वार्ड ही उनके दूसरे विकेट रहे। वार्ड दोनों पारियों में पहली गेंद पर आउट हुए।

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