नई दिल्ली। World Wrestling Championship: भारत की महिला पहलवान अंशु मलिक ने विश्व कुश्ती चैंपियनशिप के 57 किलो भारवर्ग के फाइनल में पहुंचकर इतिहास रच दिया है। अंशु मलिक पहली भारतीय महिला खिलाड़ी हैं, जिन्होंने विश्व कुश्ती चैंपियनशिप के फाइनल में जगह बनाई है। सेमीफाइनल मुकाबले में अंशु ने यूक्रेन की खिलाड़ी को 11-0 से हराकर टॉप 2 में अपना स्थान पक्का किया। अंशु के अलावा सरिता मोर भी बड़ा उलटफेर करते हुए चैंपियनशिप के सेमीफाइनल में पहुंचीं लेकिन हार का सामना करना पड़ा। अब सरिता कांस्य पदक मैच में उतरेंगी।
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अंशु भारत की तीसरी पहलवान हैं जो World Wrestling Championship के फाइनल में पहुंची हैं। उनसे पहले 2010 में सुशील कुमार और वर्ष 2018 में बजरंग पूनिया वर्ल्ड कुश्ती चैंपियनशिप के फाइनल में पहुंचे थे। जबकि विश्व चैंपियनशिप का खिताब भारत के लिए सिर्फ सुशील कुमार ही जीत सके हैं। भारत के लिए अभी तक सिर्फ 3 महिला पहलवानों ने ही विश्व कुश्ती चैंपियनशिप में पदक जीता है। इनमें गीता फोगाट 2012, बबीता फोगाट 2012, पूजा ढींढा 2018 और विनेश फोगाट 2019 शामिल हैं।
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World Wrestling Championship: सरिता ने गत एशियाई चैंपियन को हराया
59 किग्रा वर्ग में गत एशियाई चैंपियन सरिता का सामना प्री-क्वार्टरफाइनल में 2019 की विश्व चैंपियन कनाडा की लिंडा से हुआ। हालांकि, सरिता ने शानदार प्रदर्शन करते हुए यह मैच 8-2 से जीता। क्वार्टर फाइनल मुकाबले में सरिता का मुकाबला जर्मनी की सेंड्रा पारुसजेवस्की से हुआ। सरिता ने सेंड्रा को 3-1 से हराकर सेमीफाइनल में प्रवेश किया। लेकिन उन्हें यहां गत यूरोपीय चैंपियन बुल्गारिया की बिलयाना झिवकोवा दुओदोवा से हार का सामना करना पड़ा। अब सरिता कांस्य पदक के लिए मुकाबला खेलेंगी।
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इससे पहले पुरूषों की भारतीय फ्रीस्टाइल टीम World Wrestling Championship से खाली हाथ वापस लौट आई है। 61 किलोग्राम भारवर्ग में रविंदर और 65 किलोग्राम वर्ग में रोहित कांस्य पदक जीतने के करीब पहुंचे थे। लेकिन आखिरी मुकाबलों में हारकर वो भी पदक से वंचित ही रह गए। उनके अलावा बाकी पहलवान तो पहले ही राउंड में हारकर बाहर हुए। दरअसल, भारत के टॉप पहलवानों ने इस चैंपियनशिप से पहले ही अलग-अलग कारणों से नाम वापस ले लिया था। इस कारण युवा पहलवानों को मौका दिया गया था।