ई-मेल लीक प्रकरण के बाद की थी पद छोड़ने की घोषणा
गोपनीय जानकारियां मीडिया में लीक करने का आरोप
नई दिल्ली। भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड के चीफ एग्जीक्यूटिव ऑफिसर (सीईओ) राहुल जौहरी की BCCI से शर्मनाक विदाई हो गई है। उन्होंने पिछले साल 27 दिसंबर को ही अपने पद से इस्तीफा दे दिया था। लेकिन, बोर्ड ने इसे मंजूर नहीं किया था और उन्हें इस साल 30 अप्रैल तक एक्सटेंशन दिया था। गुरुवार को अचानक उनका इस्तीफा मंजूर कर लिया गया। उन पर बोर्ड की गोपनीय जानकारियां मीडिया में लीक करने का आरोप है।
BCCI सूत्रों का कहना है कि बोर्ड सदस्यों को जौहरी पर भरोसा नहीं रहा था। उन पर गोपनीयता भंग करने का शक था। हालांकि उन्हें एक्सटेंशन दिया गया था लेकिन वे विश्वास नहीं जीत पाए। ऐसे में उनका इस्तीफा स्वीकार किया ही जाना था।
ई-मेल लीक करने का आरोप
BCCI सूत्रों का कहना है कि राहुल जौहरी की BCCI से शर्मनाक विदाई की वजह दो लीक ई-मेल बने। जो मीडिया को लीक कर दिए गए थे। एक मेल क्रिकेट ऑस्ट्रेलिया के हेड एर्ल एडिंग्स का टी-20 वर्ल्ड कप से जुड़ा था, तो दूसरा कैग प्रतिनिधि अल्का रेहानी का था। इसके बाद से ही जौहरी को लेकर बोर्ड का रवैया सख्त हो गया था। हालांकि कुछ सदस्य उनकी तत्काल रवानगी के पक्ष में भी थे।
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गांगुली की ताजपोशी पर दिया था इस्तीफा
जौहरी ने अपना इस्तीफा पिछले साल BCCI अध्यक्ष बने सौरव गांगुली की ताजपोशी के साथ ही दे दिया था। 2016 में उन्हें इस पद पर नियुक्ति दी गई थी। इस्तीफा देने के बाद बोर्ड ने उन्हें कॉन्ट्रैक्ट समाप्त होने तक पद पर बने रहने के लिए कहा था। लेकिन अब अचानक उनका इस्तीफा मंजूर कर लिया गया।
विवादों से रहा नाता
BCCI सीईओ राहुल जौहरी का पूरा कार्यकााल विवादों से घिरा ही रहा। ई-मेल लीक प्रकरण से पहले वे यौन शोषण के एक मामले में सुर्खियों में रहे। मीटू कैम्पेन के दौरान उन पर यह आरोप लगाया गया था। बीसीसीआई ने उन पर लगे आरोपों की जांच के लिए कमेटी बनाई गई थी। हालांकि, जांच कमेटी ने जौहरी को क्लीन चिट दी थी।