नई दिल्ली। Tokyo Olympics: टोक्यो ओलंपिक में लंबी कूद के खिलाड़ी एम श्रीशंकर के खराब प्रदर्शन के बाद भारतीय एथलेटिक्स महासंघ (एएफआई) ने उनके कोच एस मुरली को बर्खास्त कर दिया है। बता दें कि मुरली कोच के साथ-साथ शंकर के पिता भी हैं। इस मामले में एएफआई अध्यक्ष आदिल सुमारिवाला ने कहा, ‘हम उसके कोचिंग कार्यक्रम से खुश नहीं हैं, पहली कार्रवाई हो चुकी है और हमने उसका कोच बदल दिया है।’
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गौरतलब है कि मार्च में फेडरेशन कप में 8.26 मीटर के राष्ट्रीय रिकॉर्ड के साथ क्वालीफिकेशन स्तर हासिल करने वाले 22 साल के श्रीशंकर Tokyo Olympics से ठीक पहले फिटनेस ट्रायल में बुरी तरह नाकाम रहे, जिसके बाद एएफआई को उन्हें खेलों से हटाने के बारे में विचार करना पड़ा। यहां कार्यकारी परिषद की दो दिवसीय बैठक के बाद एएफआई ने साथ ही कहा कि ओलंपिक और विश्व चैंपियनशिप से पहले राष्ट्रीय चैंपियनशिप की तरह का टूर्नामेंट या फाइनल ट्रायल का आयोजन करके इन टूर्नामेंटों के लिए टीम का चयन किया जाएगा।
भाला फेंक के मुख्य कोच उवे हॉन को भी हटाया
भारतीय खिलाड़ियों ने Tokyo Olympics में इस बार रिकॉर्ड सात पदक जीते, जिसमें आखिरी दिन नीरज चोपड़ा ने भाला फेंक में गोल्ड जीतकर इतिहास रच दिया। नीरज की सफलता के पीछे उनके कोच उवे हॉन का बड़ा योगदान था। हालांकि ओलंपिक की समाप्ति के बाद भारतीय एथलेटिक्स महासंघ (एएफआई) ने नीरज के कोच उवे हॉन से नाता तोड़ दिया है।
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एएफआई ने सोमवार को घोषणा की कि उसने भाला फेंक के राष्ट्रीय कोच उवे हॉन से नाता तोड़ दिया है। एएफआई ने बताया कि वह कोच के प्रदर्शन से खुश नहीं था और अब जल्द ही दो नए विदेशी कोच नियुक्त करेगा। बता दें कि पूर्व विश्व रिकार्ड धारक 59 वर्षीय जर्मन हॉन का अनुबंध टोक्यो ओलंपिक तक ही था।