एडिलेड। T20 World Cup 2022 का दूसरा सेमीफाइनल आज भारत और इंग्लैंड के बीच खेला जाएगा। पहले सेमीफाइनल में न्यूजीलैंड को एकतरफा अंदाज में मात देकर पाकिस्तान फाइनल में जगह बना चुका है। आज दूसरी फाइनलिस्ट टीम का फैसला हो जाएगा। टी20 वर्ल्ड कप में अभी तक के प्रदर्शन को देखते हुए भारत को फेवरेट माना जा रहा है। साथ ही एक सुखद संयोग भी टीम इंडिया की दावेदारी को मजबूत कर रहा है। सोशल मीडिया पर भी इसकी जबर्दस्त चर्चा है। ये संयोग ही T20 World Cup 2022 में भारत की खिताबी जीत के संकेत कर रहा है। यह संयोग जुड़ा है, 2011 वनडे विश्व कप से, जबकि टीम इंडिया विश्व विजेता बनी थी।
दरअसल, 2007 का टी20 विश्व कप भारत ने फाइनल में पाकिस्तान को हराकर ही जीता था। इसके बाद वर्ष 2011 में भारत वनडे क्रिकेट का विश्व चैंपियन बना था। अब 2022 में हो रहा टी20 वर्ल्ड कप बिलकुल उसी लाइन पर चल रहा है, जैसा कि 2011 वनडे विश्व कप खेला गया था।
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क्या है 2011 और 2022 में समानता
– 2011 वनडे विश्व कप से पहले अभ्यास मैच में भारत ने ऑस्ट्रेलिया को पराजित किया था। उसी तरह टी20 विश्व कप 2022 के अभ्यास मैच में भी टीम इंडिया ने ऑस्ट्रेलिया को शिकस्त दी।
– 2011 और 2022 दोनों विश्व कप में आयरलैंड ने इंग्लैंड को हराया।
– 2011 और 2022 दोनों ही विश्व कप में दक्षिण अफ्रीका ने भारत को शिकस्त दी और मैच 2 गेंद शेष रहते ही जीता।
– इसके बाद 2011 में तो भारत क्रिकेट का विश्व विजेता बन गया लेकिन अब T20 World Cup 2022 का परिणाम आना बाकी है।
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ये संयोग भी भारत को बना रहे विजेता
– 2007 के वनडे विश्वकप में भारत को बांग्लादेश के हाथों हार मिली। अगले 2011 के विश्वकप के पहले ही मैच में भारत ने बांग्लादेश को हराकर न सिर्फ बदला लिया बल्कि चौंपियन भी बना। इसी तरह 2021 में भारत को पाकिस्तान ने हराया। अगले T20 World Cup 2022 के पहले ही मैच में भारत ने पाकिस्तान को हराकर बदला लिया। अब भारत विजेता बनने से दो कदम दूर खड़ा है।
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– 2011 के विश्वकप से ठीक पहले भारत के प्रमुख तेज गेंदबाज प्रवीण कुमार चोटिल होकर बाहर हो गए थे। उनकी जगह श्रीसंत शामिल हुए। 2022 में जसप्रीत बुमराह चोटिल हो गए और उनकी जगह मोहम्मद शमी को लिया गया। 2011 में भारत के ग्रुप में नीदरलैंड, बांग्लादेश और दक्षिण अफ्रीका शामिल थे। यहां भी ये तीनों भारत के ग्रुप में थीं।